कांगड़ा में पालतू पशुओं में फैली मुहंखूर बीमारी
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देहरा -हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिला के देहरा, फतेहपुर, सकरी, नगरोटा बगवां से पालतू पशुओं में मुहं खुर बीमारी फैल गई है, जिससे लोग परेशान हैं। आवारा पशुओं की मौत भी हो रही है. पशुधन के सहारे अपने परिवार पालने वाले लोग इस समय बर्बादी की कगार पर खड़े हैं। कांगड़ा जिला में कुल 386 मामले सामने आए हैं। देहरा में 50, नगरोटा सूरियां के सकरी में 15, नगरोटा बगवां के मलां 21 व ज्वाली के घाड़ जरोट हरसर में 300 मामले पॉजिटिव आए हैं।
कांगड़ा जिला के पौंग झील के किनारे के क्षेत्र में पशुओं को खुर-मुंह की बीमारी होने से पशुपालकों में हड़कंप मच गया है। पशु पालकों का मानना है कि पशुओं में यह बीमारी पौंग झील के खाली क्षेत्र में अपने मवेशियों के साथ आए पंजाब व जेएंडके के पशुओं के कारण फैली है। क्योंकि गुज्जरों की भैंसों में खुर-मुंह की बीमारी है और इनकी कई भैंसें इस बीमारी से मर गई हैं, लेकिन सरकार व प्रशासन ने मात्र आश्वासन देकर ग्रामीणों से इतिश्री कर ली. नतीजा यह हुआ कि अब आसपास के गांवों के पशु भी इस बीमारी की चपेट में आ गए हैं।
देहरा की ख़बली पंचायत के पूर्व उप-प्रधान सुभाष ने बताया कि उन्होंने व यहां के लोगों ने पशुओं में तेजी से फैल रही खतरनाक बीमारी मुहं खुर से बचाने के लिए अपने मवेशियों को चराने के लिए पौंग डैम के किनारे व घासनियों में छोड़ना बंद कर दिया है। सुभाष ने कहा कि वह पिछले महीने से अपने पशुओं को पशुशाला में ही बांधकर रख रहे हैं, ताकि उनके पशुओं में मुहं खुर की बीमारी का संक्रमण ना फैले।